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हत्या के प्रयास व आर्म्स एक्ट मामले में फैसला: 3 अभियुक्तों को 10 वर्ष, 2 को 5 वर्ष का सश्रम कारावास और अर्थदंड की सजा

छपरा, 16 दिसंबर 2025। छपरा व्यवहार न्यायालय द्वारा हत्या के प्रयास एवं आर्म्स एक्ट के एक गंभीर मामले में त्वरित विचारण पूर्ण करते हुए दोषसिद्धि का निर्णय सुनाया गया है जिसके तहत् 3 अभियुक्तों को 10 वर्ष, 2 को 5 वर्ष का सश्रम कारावास के अतिरिक्त अर्थदंड की सजा सुनाई गई है।

विद्वान अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश–17, सारण, छपरा श्री संदीप पटेल ने सोनपुर थाना कांड संख्या 495/24 दिनांक 10.06.2024, धारा 341/ 323/ 324/ 325/ 307/452/504/506/34 भादवि एवं 27 आर्म्स एक्ट, सत्रवाद संख्या 882/24 में कुल पांच अभियुक्तों को दोषी ठहराया।

सजा के विन्दू पर न्यायालय ने अभियुक्त गिरजा उर्फ रोहित, आदर्श सिंह एवं दिपु सिंह को धारा 307 भादवि के तहत 10-10 वर्ष सश्रम कारावास एवं 20-20 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई। अर्थदंड की राशि जमा नहीं करने की स्थिति में उन्हें 03-03 माह का अतिरिक्त सश्रम कारावास भुगतना होगा। इसके अतिरिक्त अभियुक्त गिरजा उर्फ रोहित एवं आदर्श सिंह को धारा 27 आर्म्स एक्ट के अंतर्गत दोषी पाते हुए 07 वर्ष सश्रम कारावास एवं 20-20 हजार रुपये अर्थदंड, तथा अदायगी न होने पर 03-03 माह का अतिरिक्त सश्रम कारावास की सजा दी गई।

वहीं, न्यायालय ने अभियुक्त ब्रज किशोर सिंह एवं संदीप सिंह को धारा 307 भादवि के तहत 05-05 वर्ष सश्रम कारावास एवं 10-10 हजार रुपये अर्थदंड से दंडित किया। अर्थदंड जमा नहीं करने पर उन्हें 03-03 माह का अतिरिक्त सश्रम कारावास भुगतना होगा।

अभियोजन पक्ष की ओर से मामले में डॉक्टर एवं अनुसंधानकर्ता सहित कुल 10 साक्षियों का परीक्षण कराया गया। अभियोजन का पक्ष अपर लोक अभियोजक योगेश कुमार गुप्ता ने मजबूती से रखा। साक्ष्य एवं अभिलेखों के अवलोकन के उपरांत न्यायालय ने अभियुक्तों को दोषी ठहराते हुए उपर्युक्त सजा सुनाई।

गौरतलब हो कि पुलिस मुख्यालय के निर्देश पर गंभीर अपराधों के मामलों में त्वरित विचारण सुनिश्चित किया जा रहा है, जिसके तहत इस प्रकरण में समयबद्ध अनुसंधान एवं सशक्त अभियोजन के आधार पर न्यायालय द्वारा निर्णय पारित किया गया।

उल्लेखनीय है कि इस प्रकरण में सारण पुलिस की भूमिका सराहनीय रही। पुलिस द्वारा कांड के प्रारंभिक चरण से ही तत्परता दिखाते हुए समयबद्ध एवं गुणवत्तापूर्ण अनुसंधान, साक्षियों की ससमय प्रस्तुति तथा अभियोजन से निरंतर समन्वय स्थापित किया गया, जिससे मामले का त्वरित विचारण संभव हो सका। गंभीर अपराधों के मामलों में दोषियों को न्यायिक दंड दिलाने की दिशा में सारण पुलिस का यह समर्पित प्रयास कानून-व्यवस्था सुदृढ़ करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण उदाहरण माना जा रहा है।

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