भोजपुर: बिहार समेत पूरा देश इन दिनों साइबर क्राइम की गिरफ्त में है। हालांकि विभिन्न राज्यों में साइबर सेल अलग अलग कार्रवाई कर रही है। इसी कड़ी में बिहार में EOU ने साइबर क्राइम के विरुद्ध बड़ी कार्रवाई करते हुए साइबर फ्रॉड के एक अंतरराष्ट्रीय गैंग का खुलासा किया है। EOU ने कार्रवाई में चार सिम बॉक्स, एक लैपटॉप, इंटरनेट राउटर समेत कई अन्य डिवाइस बरामद किया है। टीम ने एक साइबर फ्रॉड को भी गिरफ्तार किया है।
बताया जा रहा है कि ग्रामीणों की नजर में किसान मुकेश भोजपुर से बड़ा फाइबर फ्रॉड गैंग चला रहा था। प्रारंभिक जांच में सामने आया है कि गिरफ्तार आरोपी और उसके सहयोगी सिम बॉक्स तकनीक के जरिए VOIP कॉल को लोकल GSM कॉल में बदल देते थे। इस प्रक्रिया में विदेशी साइबर अपराधी भारत के लोगों को कॉल कर उन्हें ठगते थे। ये कॉल थाईलैंड, कंबोडिया समेत अन्य देशों से शुरू होती थी। SIM बॉक्स के जरिए भारत में लोकल नंबर की तरह रिसीव होती थी। इससे न केवल लोगों को गुमराह करना आसान हो जाता था, बल्कि भारत सरकार को टेलीकॉम राजस्व का भी बड़ा नुकसान हो रहा था।
सूत्रों के अनुसार इन सिम बॉक्स के जरिए रोजाना हजारों कॉल किए जा रहे थे। इनका उपयोग बैंक फ्रॉड, KYC अपडेट, इनामी लॉटरी और अन्य फर्जीवाड़ों के लिए किया जाता था। जांच में खुलासा हुआ है कि इस रैकेट को चलाने के लिए बड़ी संख्या में फर्जी सिम कार्ड की जरूरत होती थी। इसके लिए कुछ कॉमन सर्विस सेंटर संचालक गांव-गांव में कैंप लगाकर सरकारी योजनाओं का झांसा देते थे। लोगों से उनका बायोमेट्रिक डेटा जुटाते थे।
बाद में इसी डेटा के आधार पर टेलीकॉम कंपनियों के डिस्ट्रीब्यूटर की मिलीभगत से फर्जी सिम कार्ड एक्टिवेट कराए जाते थे। बड़े ही शातिर तरीके से ठगी की जाती थी। आर्थिक अपराध इकाई को मिली सूचना के आधार पर नारायणपुर थाना क्षेत्र के भलुनी गांव में यह कार्रवाई की गई। वहां से अंतर्राष्ट्रीय साइबर फ्रॉड मुकेश कुमार को गिरफ्तार किया गया।